शिमला. हिमाचल प्रदेश में तीन दिन से जारी मूसलाधार बारिश ने कहर बरपाया है। हर तरफ तबाही का मंजर दिख रहा है। प्रदेश में जनजीवन पूरी तरह अस्त-व्यस्त हो गया है। करोड़ों रुपए की संपत्ति जलमग्न हो चुकी है, वहीं प्रदेश में दो दिन में 17 लोगों ने जान गंवाई है और 10 लोग बह गए हैं। रविवार को प्रदेश भर में 13 लोगों की मौत हुई, जबकि छह बह गए थे। इसके बाद सोमवार को चार लोगों की मौत हुई है, जबकि चार बह गए हैं। किस जिले में कैसे हैं बारिश के बाद के हालात…
- शिमला जिले की ठियोग तहसील के पलवी गांव में सोमवार सुबह 11 बजे एक मकान भूस्खलन की चपेट में आ गया। हादसे में तीन लोगों की मौत हो गई। मृतकों की पहचान दीप बहादुर, देवदासी और मोहन बहादुर के तौर पर हुई है।
- बिलासपुर जिले में श्री नयना देवी जी के मलेटा गांव में शादी समारोह से लौट रहा बुजुर्ग व्यक्ति नाले में बह गया। बुजुर्ग का शव करीब दो किलोमीटर दूर कालाकुंड नामक जगह पर गोबिंद सागर झील में मिला है। मृतक की पहचान रामलाल (70) निवासी गांव मलेटा तहसील श्री नयना देवी जी जिला बिलासपुर के रूप में हुई है।
- मनाली में तीन वोल्वो बसों के बहने की सूचना है। चार लोग बहने से लापता हैं। तीन लोग मनाली से बह गए हैं। एक गाड़ी सहित बहा है। डीसी कुल्लू आशुतोष गर्ग ने बताया कि श्रीखंड यात्रा स्थगित कर दी गई है। फंसे यात्री वापस लाए जाएंगे।
- 6 नेशनल हाईवे समेत 828 सड़कें यातायात के लिए अवरुद्ध हैं। 4686 बिजली ट्रांसफार्मर ठप हैं। कुल्लू में दो दिन का लोकल हॉलीडे घोषित किया गया है। डीसी ने इस संबंध में आदेश जारी कर दिए हैं। कुल्लू के अखाड़ा बाजार में बैली ब्रिज को भारी नुकसान हुआ है। आवाजाही बंद कर दी गई है।
- सोलन जिले के औद्योगिक क्षेत्र परवाणू में बाढ़ जैसे हालात बन गए हैं। सेक्टर 4 में कई गाड़ियां पानी के तेज बहाव में बह गई हैं। लोग दहशत में हैं। चंडीगढ़ मनाली राष्ट्रीय राजमार्ग गंभरोला के पास भूस्खलन होने से बंद हो गया है, जिसे राजमार्ग पर लंबा जाम लग गया है। लोक निर्माण विभाग के कर्मी मलबा हटाने के काम में जुटे हुए हैं।
- वहीं भूस्खलन से किरतपुर नेरचोक फोरलेन सहित 35 संपर्क मार्ग बंद हैं। बिलासपुर में जल शक्ति विभाग की 87 पेयजल योजनाएं मलबा भरने से ठप पड़ी हैं। विभाग को करीब 12 करोड़ रुपए का नुकसान हुआ है। शक्तिपीठ श्री नयना देवी जी को जाने वाले मार्ग भूस्खलन से बंद हो गए हैं।
- वही श्री नयना देवी जी नगर में बिजली आपूर्ति ठप है। जिला ऊना के उपमंडल बंगाणा क्षेत्र के विभिन्न हिस्सों में रविवार देर रात तथा सोमवार सुबह को लगातार हो रही बारिश से यातायात प्रभावित है। वहीं कुछ स्थानों पर रिहायशी मकान तथा गोशालाएं गिर गई हैं। बारिश से ब्यास नदी का रौद्र रूप देखने को मिल रहा है। नदी के तटीय इलाकों में भारी नुकसान हुआ है।
- ब्यास किनारे कई घर व होटल बह गए हैं। वहीं पार्वती व तीर्थन नदी व अन्य नदी नालों में बाढ़ जैसे हालात हैं। नदी किनारे बसे गांवों व घरों में पानी घुस गया है। कुल्लू जिले में दो दिनों से ब्लैकआउट है।
- सड़कें व पेयजल आपूर्ति बंद होने से लोग और सैलानी परेशान हैं। मनाली के किसान भवन में फंसे सभी 29 लोगों को सोमवार सुबह रेस्क्यू कर सुरिक्षत निकाल लिया गया है। इसमें कई सैलानी भी मौजूद हैं।
- मुख्यमंत्री सुखविंद्र सिंह सुक्खू ने बारिश से हुई तबाही को राष्ट्रीय आपदा घोषित करने की मांग की है। सीएम सुक्खू दिन भर मंडी, कुल्लू, सोलन जिलों में हो रही तबाही की जानकारी लेते रहे। फंसे हुए लोगों को सकुशल निकालने के लिए जिला प्रशासन को निर्देश दिए गए हैं।
- मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू के साथ भाजपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष जगत प्रकाश नड्डा ने फोन पर बातचीत की। नड्डा ने प्राकृतिक आपदा से हुए भारी नुकसान, राहत और बचाव कार्यों को लेकर मुख्यमंत्री से की चर्चा। मुख्यमंत्री ने उन्हें पूरी जानकारी दी।
- सीएम ने हिमाचल की आपदा को राष्ट्रीय आपदा घोषित करने का अनुरोध किया। नड्डा ने हर संभव मदद का आश्वासन है। मुख्यमंत्री ने भारी नुकसान पर आर्थिक सहायता जल्द प्रदान करने का आग्रह किया।
- हिमाचल प्रदेश सरकार ने आपात स्थिति में सहायता के लिए टोल फ्री हेल्पलाइन नंबर 1100, 1070 और 1077 जारी किए गए हैं। इसके अलावा प्रदेश भर में हुए नुकसान के आकलन के लिए एक कमेटी का गठन किया गया है।
- कमेटी में राजस्व मंत्री जगत सिंह नेगी, शिक्षा मंत्री रोहित ठाकुर और मुख्य संसदीय सचिव संजय अवस्थी को शामिल किया गया है। सीएम ने बताया कि कांग्रेस के सभी विधायकों को प्रभावितों की मदद के निर्देश दिए गए हैं। वह स्वयं भी फोन के माध्यम से सभी रेस्क्यू ऑपरेशन की मॉनीटरिंग कर रहे हैं।
- सीएम ने लोगों से नदियों और नालों के आसपास न जाने की अपील की है। उन्होंने जिला प्रशासन का सहयोग करने भी आग्रह किया है। किन्नौर जिले की भावा खड्ड में रविवार रात बाढ़ आने से तीन मकान बह गए हैं। जबकि दो मकानों को आंशिक रूप से नुकसान हुआ है। एक टिप्पर, एक पिकअप और एक कार बाढ़ मे बह गई है।
- कई सेब के बागीचों को भी नुकसान पहुंचा है। वहीं भावा खड्ड पर बने पैदल पुल भी बाढ़ की चपेट में आने से बह गए हैं। जबकि कई मकान खतरे की जद में हैं। ऊना आने वाली सभी ट्रेंनें आज भी रद्द रहेंगी।
- बारिश की वजह से रेल सेवा पर सबसे बुरा असर पड़ा है। वंदे भारत, जनशताब्दी, हिमाचल एक्सप्रेस सहित पेसेंजर ट्रेने भी नहीं चलेंगी। ऊना, अंब, अंदौरा व दौलतपुर चौक रेलवे स्टेशन भी खाली पड़ हैं। ऊना में कुल नौ ट्रेने अवगमन करतीं हैं।
- जनजातीय जिला लाहौल-स्पीति में बारिश ने तबाही मचा दी है। मनाली-लेह मार्ग के बीच आने वाले तेलिंग व पागलनाला में बाढ़ आने से सड़क मार्ग बंद है। यहां एचआरटीसी की चार बसों के साथ कुछ छोटे वाहन भी फंसे हैं। बसों में सवार करीब 50 लोग तीन दिनों से भूखे प्यासे हैं। इसमें महिलाएं और बच्चे भी शामिल हैं।
- सिरमौर जिले के पांवटा साहिब के भगानी मेहरूवाला स्थित टापू में तीन परिवार के 32 लोग फंस गए। सूचना मिलते ही एसडीएम रेस्क्यू टीम के साथ पहुंचे। टीम ने सभी फंसे हुए लोगों को सुरक्षित निकाल लिया। रेस्क्यू किए लोगों में महिलाएं, छोटे बच्चे भी शामिल हैं।