राजेन्द्र ठाकुर/चम्बा
अम्बेडकर मिशन सोसायटी चम्बा, श्री गुरु रविदास सभा चम्बा, श्री गुरु रविदास महासभा चम्बा, जिला चम्बा अनुसूचित जाति कल्याण समिति, अम्बेडकर सेवानिवृत्त कर्मचारी कल्याण संघ चम्बा, भीमा बाई महिला मंडल चम्बा और अन्य सामाजिक संस्थाओं के सयुंक्त तत्वावधान ने आज उपायुक्त के माध्यम से महामहिम राष्ट्रपति को केंद्रीय गृहमंत्री अमित शाह के खिलाफ ज्ञापन भेजा। अम्बेडकर मिशन सोसायटी के अध्यक्ष योगेश्वर अहीर, महासचिव अनूप राही, गुरु रविदास सभा के प्रधान जितेन्द्र सूर्या, गुरु रविदास महासभा हिमाचल प्रदेश के महासचिव जीतेश्वर सूर्या, दीपक लुहारच, अरुण डालिया, अम्बेडकर सेवानिवृत कर्मचारी कल्याण संघ प्रधान मनोहर लाल हितैषी, महासचिव शिवचरण चंद्रा, धर्मेन्द्र भट्ट, शशिकांत, विशाल काइस्था, राम सूर्या, तिलक राज चंद्रा, तेज लाल इत्यादि उपस्थित रहे।
यहां उपायुक्त से मिलने के बाद प्रतिनिधियों का नेतृत्व कर रहे अम्बेडकर मिशन सोसायटी के अध्यक्ष योगेश्वरअहीर ने कहा कि 17 दिसंबर को संसद के विशेष सत्र में केन्द्रीय गृहमंत्री ने डॉ. अम्बेडकर का नाम लेकर अशोभनीय टिप्पणी की है। ‘अम्बेडकर का नाम लेना अब फैशन हो गया है। अम्बेडकर, अम्बेडकर, अम्बेडकर, अम्बेडकर, अम्बेडकर, अम्बेडकर… अगर इतना नाम भगवान का लिया होता तो सात जन्मों तक स्वर्ग मिल जाता’ बयान के बाद दलित, वंचित और अम्बेडकरवादी संगठनों में रोष है। हम मांग करते हैं कि अमित शाह संसद में सार्वजनिक रूप से माफी मांगें और अपने पद से इस्तीफा दें।
कानूनी कार्रवाई की भी मांग
सामाजिक संगठनों के प्रतिनिधि ने कहा कि केंद्रीय मंत्री अमित शाह द्वारा डॉ. भीमराव अम्बेडकर पर की गई टिप्पणी ने समाज के एक बड़े वर्ग की भावनाओं को ठेस पहुंचाई है। डॉ. अम्बेडकर का योगदान भारतीय समाज और राजनीति को दिशा देने में अत्यंत महत्वपूर्ण रहा है। उनकी विचारधारा और कार्यों ने करोड़ों लोगों को प्रेरित किया है। ऐसे में संवैधानिक एवं उच्च पद पर बैठे किसी व्यक्ति द्वारा उन्हें लेकर की गई आपत्तिजनक टिप्पणी न केवल अनुचित है, बल्कि यह हमारे समाज के समरसता और एकता को भी कमजोर करती है। इसके इलावा केन्द्रीय गृह मंत्री अमित शाह को पदमुक्त करने और उनके खिलाफ कानूनी कार्रवाई की भी हम पुरजोर मांग करते हैं। हम मांग करते हैं कि भारत गणराज्य के संविधान निर्माता के प्रति अपमानजनक रवैया रखने वाले लोगों की बयानबाजी पर रोक लगाई जाए। हम आशा करते हैं कि ऐसे मामलों में उचित कार्रवाई की जाएगी, ताकि आगे से इस प्रकार की टिप्पणियों की पुनरावृत्ति न हो।