- जालंधर में पंजाब सरकार के कैबिनेट मंत्री हरभजन सिंह ने दीवारों पर लगाए मोदी हटाओ-देश बचाओ के पोस्टर
- हरियाणा के करनाल में पुलिस पर पार्टी के वरिष्ठ नेता अनुराग ढांडा के साथ हाथापाई का भी आरोप
- सांसद गुप्ता और अनुराग ढांडा ने कहा-पोस्टर लगाने से रोकना खट्टर सरकार की तानाशाही
नई दिल्लीचंडीगढ़/करनाल/जालंधर. भारत की राजनीति में गुरुवार को एक बड़ी घटना घटी है। आम आदमी पार्टी के मोदी हटाओ-देश बचाओ के पोस्टर लगाने के अभियान के बीच आज हरियाणा के करनाल में पार्टी के राज्यसभा सांसद और प्रदेश प्रभारी डॉ. सुशील गुप्ता, वरिष्ठ नेता अनुराग ढांडा समेत 29 के खिलाफ न सिर्फ धारा 107/151 के मामला दर्ज कर लिया गया, बल्कि इन्हें गिरफ्तार भी कर लिया गया। हालांकि कुछ ही वक्त के बाद जमानत पर छोड़ भी दिया गया। अब पार्टी नेतृत्व की तरफ से इस मामले की हर तरफ निंदा की जा रही है। आरोप तो यहां तक भी हैं कि पुलिस ने पार्टी के नेताओं के साथ हाथापाई भी की। इतना ही नहीं, इस अभियान में शामिल पार्टी नेताओं के खिलाफ देशभर में 138 मामले दर्ज हुए हैं।
दरअसल, बीते दिनों आम आदमी पार्टी की तरफ से देशभर में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के खिलाफ पोस्टर अभियान का आगाज किया गया। इसके तहत 11 भाषाओं हिंदी, अंग्रेजी, मराठी, पंजाबी, मलयालम, उड़िया, कन्नड़, बांग्ला, गुजराती, उर्दू और तेलुगु भाषाओं में मोदी हटाओ-देश बचाओ का नारा लिखकर पोस्टर तैयार कराए गए। इन्हें 30 मार्च तक देशभर के विभिन्न राज्यों में सार्वजनिक जगह पर चिपकाने का अभियान छेड़ा गया। 10 अप्रैल को देशभर के विश्वविद्यालयों में मोदी हटाओ देश बचाओ के पोस्टर लगाए जाने का भी प्लान है।
गुरुवार 30 मार्च को राधानी दिल्ली समेत देशभर में ये पोस्टर चिपकाने का क्रम जारी था। जालंधर में पंजाब के कैबिनेट मंत्री हरभजन सिंह ने सैंट्रल हल्के में पहुंच विधायक रमन अरोड़ा के साथ मिलकर जगह-जगह पोस्टर लगाए। हरियाणा के करनाल में भी पार्टी प्रदेश प्रभारी और राज्यसभा सांसद डॉ. सुशील गुप्ता, वरिष्ठ नेता अनुराग ढांडा और बहुत सारे वर्कर्स सैक्टर-12 स्थित एक रैस्टोरैंट में प्रैस कॉन्फ्रैंस से अभियान का आगाज किया। दूसरी ओर इस दौरान भारी पुलिस बल मौजूद रहा। जानकारी मिली है कि इस दौरान आम आदमी पार्टी के नेताओं और पुलिस के बीच हाथापाई की नौबत आ गई। इसके बाद पुलिस ने नेताओं और कार्यकर्ताओं को गिरफ्तार कर लिया गया। पुलिस लाइन में 29 के खिलाफ धारा 107/151 में मामला दर्ज कर लिया गया। हालांकि थोड़े ही वक्त के बाद सभी को जमानत पर छोड़ दिया गया। इसी बीच यह भी पता चला है कि देशभर में ऐसी कुल 138 एफआईआर दर्ज हुई हैं।
डॉ. सुशील गुप्ता बोले-ऐसा तो अंग्रेजों के जमाने में नहीं हुआ
उधर, इस प्रकरण के बाद एक और प्रैस कॉन्फ्रैंस की गई। इसमें डॉ. सुशील गुप्ता ने कहा कि अंग्रेजों के राज में भी कभी एक पोस्टर और एक पर्चे के लिए 138 एफआईआर नहीं हुई थी। हमारे स्वतंत्रता सेनानियों का सपना था कि जिस दिन हमारा देश आजाद होगा, अशिक्षा दूर होगी और भारत एक शिक्षित राष्ट्र बनेगा। देश के लोग इलाज के लिए नहीं भटकेंगे, नौजवानों को रोजगार मिलेगा, किसानों को फसल का उचित दाम मिलेगा, लेकिन जहां-जहां प्रधानमंत्री मोदी गए, वहां-वहां अडानी का साम्राज्य विकसित करते रहे। एक व्यक्ति का विकास ही उनका सपना बनके रह गया है। वहीं अनुराग ढांडा ने कहा कि आज जनता की आवाज को दबाया जा रहा है। एक पोस्टर से तानाशाह डर गया। देखते हैं कि उनकी एफआईआर, पुलिस और जेल में कितनी ताकत है। जब चप्पे-चप्पे पर ‘मोदी हटाओ, देश बचाओ’ के पोस्टर लगेंगे और ऐसे ही केस दर्ज होते रहे तो जेलें भर जाएगी, मगर मां भारती को बचाने के लिए सीना और हाथ कम नहीं होंगे। इस मौके पर सुनील बिंदल, बलविंदर चीमा, निर्मल सिंह, महेंद्र सिंह, अमनदीप सिंह, बिंद्र मान और सुभाष कोच मौजूद रहे।